चलो तुम कुछ बातें याद करके हमे गले लगा लो❤️ और मैं कुछ बातें भूलकर मुस्कुरा लेती हूँ🤗....
इबारत ... इश्क की, लिखकर.. वो चल दिये... और आयत समझ हम पढ़ते रहे उम्र भर.....!
महके-महके से रहते हैं खुश्बू से तेरी तुम बन के इत्र बिखर गये हो मुझमें कहीं.!!
मेरी मुहब्बत की हकीकत... तुम क्या जानो सर झुकाया... तो तुम्हें मागां हाथ उठाया तो तुझे माँगा
जब भी खोला है ये माज़ी का दरीचा मैं ने कोई तस्वीर ख़यालों में नज़र आती है ~फ़रह इक़बाल
काश अठखेलियां लेता कभी तेरे प्यार से उफनते सागर में रोम रोम हर्षित हो जाता तब मिलता सुकून भरता तुझे…
काश भीगता कभी तू मेरे सुखन की बारिश में। कतरा - कतरा जज़्बात, तेरी जड़ों में रिस जाते।।
इश्क़ में क्या तुम और क्या मैं आप ही रूठिये, आप ही मानिये और भी बहुत रंग हैं मोहब्बत के…
मुझ को बीमार करेगी, तेरी आदत इक दिन और फिर तुझ से भी अच्छा नहीं हो पाऊँगा -Rahul Jha